भोपाल। कहते है दूध का जला छाछ भी फूंक फूंक कर पीता है, किंतु जिसके मुंह में भ्रष्टाचार की मलाई लग जाये वो अपनी आदतों से बाज नहीं आता इसका ज्वलंत उदाहरण आज मध्यप्रदेश के रीवा जिले में देखने को मिला जब एक महिला पटवारी रिश्वत लेते दूसरे बार ट्रेप हुई।महिला पटवारी ने शिकायतकर्ता से जमीन का नक्शा पास कराने के एवज में रिश्वत की डिमांड की थी। पीड़ित द्वारा मना करने के बावजूद महिला पटवारी रिश्वत के लिए अड़ी रही। इसके बाद पीड़ित ने पटवारी की शिकायत लोकायुक्त पुलिस से कर दी। लोकायुक्त पुलिस ने जाल बिछाया और रिश्वत की दूसरी किस्त लेते लोकायुक्त पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। यहीं महिला पटवारी 8 साल पहले भी ट्रेप हो चुकी है ।
नक्शा पास कराने के लिए मांगी 5 हजार की रिश्वत : मामला रीवा जिले के ग्राम तेंदुन तहसील सिरमौर का है। आरोप है कि शिकायतकर्ता उमेश प्रताप सिंह से नक्शा पास करवाने के एवज में ग्राम तेंदुन हल्का में पदस्थ महिला पटवारी भारती अवधिया ने 5 हजार हजार रुपए की डिमांड की। पीड़ित उमेश प्रताप सिंह ने लोकायुत से इसकी शिकायत की, महिला पटवारी ने शिकायतकर्ता से रिश्वत के 2500 रुपए पहली किस्त में ले चुकी है। इसके बाद लोकायुक्त ने शिकायत सही पाए जाने पर मंगलवार को महिला पटवारी को रिश्वत की दूसरी किस्त 2500 रुपए लेते गिरफ्तार कर लिया।
8 साल पहले भी लोकायुक्त ने की थी कार्रवाई : लोकायुक्त निरीक्षक जियाउल हक के अनुसार “यह पहला ऐसा मामला नहीं है जब महिला पटवारी भारती अवधिया पर रिश्वत लेने के आरोप लगे हों। साल 2016 में गुढ़ तहसील के रीती ग्राम में हल्का पटवारी रहते हुए इसी तरह से पटवारी भारती अवधिया ने भूमि का सीमांकन करने के एवज में फरियादी से 9 हजार हजार रुपए रिश्वत की डिमांड की थी। उस दौरान भी फरियादी द्वारा पटवारी भारती अवधिया की शिकायत लोकायुक्त पुलिस से की गई थी। लोकायुत ने कार्रवाई करते हुए रिश्वत की रकम लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था।”
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